Published On : Tue, Jul 8th, 2014

अकोला : कपास उतपादक किसानों के साथ हो रहा सौतेला व्यव्हार – किसान नेता प्रकाश पोहरे

Advertisement


अकोला

Prakash Pohareकेंद्र में मोदी सरकार आने के बाद किसानों के भी “अच्छे दिन” आने की उम्मीद की जा रही थी लेकिन मोदी सरकार भी कांग्रेस सरकार की हि तरह किसान विरोधी फैसले ले रही है ऐसा आरोप लगाया हैं किसान नेता प्रकाश पोहरे ने प्याज और आलू को जीवनावश्यक कायदा के अंरर्गत लाना किसानों पर अन्याय हैं ऐसा आऱोप भी प्रकाश पोहरे ने लगाया हैं. सरकार की ओर से गन्ना और शक्कर उतपादन से जुड़े फैसले लिए जाते हैं उस तरह के फैसले कपास और सुतगिरनी उद्दोग के लिए नहीं लिए जाते. कपास उत्पादक किसानों के साथ किए जा रहे सौतेले व्यवहार को रोकने की मांग प्रकाश पोहरे ने पत्रकार परिषद के दौरान की. दोनो उत्पादो को आंतरराष्ट्रीय कृषी उद्योग क्षेत्र में ग्राहको की दृष्टी से उपभोग्य वस्तु के रूप में जाना जाता है. सरकार गन्ना उत्पादकों की तुलना में कपास उत्पादकों के साथ निम्न दर्जे का व्यवहार कर किसानों में भेदाभाव कर रही है ऐसा आरोप पोहरे ने किया.

केंद्र सरकार ने अड़चन में फसे शक्कर उद्योग को सहारा देने के लिए पहली बार 6,600 करोड की आर्थिक मदद दी और दूसरी बार 4,400 कोटी इस प्रकार कुल 11,000 करोड़ की आर्थिक सहायता की. इसका फायदा शक्कर कारखाना व गन्ना उत्पादक किसानों को होगा.शक्कर उत्पादन के सन्दर्भ में जितनी जल्दी और भावनात्मक दृष्टी से निर्णय लिए जाते हैं उतनी ही गती से कपास उत्पादक किसानों और सूतगिरणि के संदर्भ में नहीं किया जाता. कपास उत्पादक किसान आत्महत्या जैसा क़दम मजबूरी में उठा रहे हैं और सरकार कुछ नहीं कर रही ऐसा प्रकाश पोहरे ने इस वक्त कहा.

Gold Rate
Thursday 13 March 2025
Gold 24 KT 87,100 /-
Gold 22 KT 81,000 /-
Silver / Kg 99,100 /-
Platinum 44,000 /-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

बीटी कपास के आने के बाद कपास उत्पादक किसानों ने सारे रिकोर्ड तोड दिए लेकीन फिरभी कपास उतपादक किसानों के हांथ औऱ पेट ख़ाली हैं. राज्य में 80 प्रतिशत कपास की फसल विदर्भ में होती है. गन्ना उत्पादक किसानों की ही तरह कपास औऱ सूतगिरनि उदयोग क़े भि “अच्छे दिन” लाने के लिए सरकार की ओर से उचित योजनाएं और कदम उठाए जाने की जरुरत है ऐसा प्रकाश पोहरे ने कहा. गन्ना और शक्कर और कपास और सूतगिरनी उतपादक किसानों मे होने वाल भेदभाव से देश की आर्थिक व सामाजिक परिस्थिती बिगड़ने का इशारा पोहरे ने सरकार को दिया . सभी जनप्रतिनिधींनी एकत्रित होकर दबाव गट तैयार करें ऐसी अपेक्षा पोहरे ने व्यक्त की.

Advertisement
Advertisement