– आतिश उमरे और वेंकट कारेमोरे ने उठाते हुए आरोप लगाया था कि लोककर्म निर्माण और वित्त विभाग में ठेकेदारों की फाइलें बिना घुस दिए आगे नहीं बढ़ती नहीं।
नागपुर – मुख्य लेखा व वित्त अधिकारी की गलती से ठेकेदारों को झटका लगा है. कार्यों का भुगतान समय पर नहीं होने के कारण सभी कार्यों के प्रस्ताव सरकार को नए सिरे से विस्तार के लिए भेजे गए थे। इससे ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्य प्रभावित हो रहा है।
संजय झाडे ने गुरुवार को हुई स्थायी समिति की बैठक में यह मुद्दा उठाया.उन्होंने मुख्य लेखा व वित्त अधिकारी का प्रभार संभाला वाभाडे से लिया। सरकार ने कोविड के चलते मार्च में समाप्त हो रहे रुके हुए कार्यों की समय सीमा 30 जून तक बढ़ा दी थी। तदनुसार, जिले में शीर्ष 25/15 के तहत किए गए कुल कार्यों में से 50 से अधिक बिल मुख्य लेखा व वित्त अधिकारी के पास ‘एलआरएस’ के लिए लोककर्म विभाग से भेजा गया था। लेकिन उन्होंने उस भुगतान फ़ाइल को कई महीनों तक यूँ ही रखे रहे। फिर दो बार त्रुटि दूर कर इसे लोककर्म विभाग को वापस भेज दिया गया। त्रुटियों में सुधार कर लोककर्म विभाग द्वारा मुख्य लेखा व् वित्त अधिकारी को भेजा गया। लेकिन उन्होंने इसका निपटारा नहीं किया।
अधिकारियों की इस गैरजिम्मेदारी के चलते सरकार की ओर से पहले दिया गया अतिरिक्त समय खत्म हो गया। इसके चलते 88 कार्यों का करोड़ों का भुगतान ठप हो गया है। ठेकेदारों ने अपनी जेब से पैसा खर्च कर काम शुरू किया। अब जबकि उनका भुगतान अटका हुआ है, क्या वे नए काम करने के लिए आगे आएंगे ?
उक्त सवाल झाडे ने भी उठाया था। आतिश उमरे और वेंकट कारेमोरे ने उठाते हुए आरोप लगाया था कि लोककर्म निर्माण और वित्त विभाग में ठेकेदारों की फाइलें बिना घुस दिए आगे नहीं बढ़ती नहीं। जिलापरिषद अध्यक्ष रश्मि बर्वे ने दो दिन के भीतर इस मामले की पूरी जानकारी देने का निर्देश दिया.
उल्लेखनीय यह है कि सरकार की ओर से ‘खनिज निधि’ से किए जा रहे कार्यों को स्थगित करने के संबंध में कोई निर्देश नहीं है। लेकिन इसके बाद भी जिला परिषद के मुख्य कार्यपालन अधिकारी योगेश कुंभेजकर और वित्त लेखा अधिकारी ने ‘खनिज निधि’ का काम भी रोक दिया है. इससे जिले के ग्रामीण क्षेत्रों का विकास ठप हो गया है। सदस्यों ने कहा कि चूंकि खनिज निधि जिला स्तर पर है,इसलिए इसकी गतिविधियों को रोकने का सवाल ही नहीं उठता. इस पर जिप अध्यक्षा ने तुरंत अधिकारियों को ‘खनिज निधि’ से किए जाने वाले कार्यों को शुरू करने के निर्देश दिए.