Published On : Mon, Feb 1st, 2021

गोंदिया: ढाई साल पहले चोरी गए गहने पुलिस ने लौटाए

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गोंदिया शहर में बढ़ रही चोरी की घटनाओं ने पुलिस के नाक में दम कर रखा है यहीं नहीं चोरी के गहने और मोबाइल खरीदने वालों से भी पुलिस खासी परेशान हैं।

वारदात शहर रेलटोली इलाके में ढाई वर्ष पूर्व 22 अगस्त 2018 से 23 अगस्त 2018 के दौरान उस वक्त घटित हुई थी जब रूपारेल परिवार बाहर गांव घूमने गया था। इसी दरमियान चोरी की वारदात को अंजाम देकर बदमाश घर से लाखों रुपए का कीमती आभूषणों पर हाथ साफ कर फरार हो गए। घर से 34 तोला सोना चोरी चले जाने के बाद परिवार की महिलाएं सदमे में थी।

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फरियादी भाविनी निखिल रूपारेल की शिकायत पर रामनगर पुलिस ने अज्ञात चोरों के खिलाफ धारा 454 ,457, 380 411 , 34 का जुर्म किया था। इस इस केस की तफ्तीश पुलिस अधीक्षक विश्व पानसरे , अपर पुलिस अधीक्षक अतुल कुलकर्णी , उपविभागीय पोलीस अधिकारी जगदीश पांडे के मार्गदर्शन तथा पुलिस निरीक्षक प्रमोद घोंगे , सहायक पुलिस निरीक्षक प्रमोद बघेल , उप निरीक्षक नीलकंठ रहमतकर , हवलदार हलमारे , महिला सिपाही हरिणखेडे , अनीता कोसरकार के अगुवाई में शुरू की गई।

चोर ने उगला 34 तोला , सोने का राज़
चोरी गए गहनों के संदर्भ में रामनगर पुलिस ने खुफिया जानकारी हासिल करने के बाद मरारटोली निवासी आरोपी बबन बागड़कर को डिटेन किया। शुरुआत में उसने टाल-मटोल भरा जवाब दिया जब पुलिस ने सख्ती दिखाई तो उसने राज़ उंगले , पुलिस ने चुराए गए 8 लाख 20 हजार के गहने आरोपी के पास से बरामद किए।

पुलिस के मुताबिक उससे कुछ और चोरी- सेंधमारी के मामले उजागर हो सकते हैं।

पुलिस अधीक्षक विश्व पानसरे ने आयोजित पत्र परिषद में बताया- गत दिनों चोरी गए माल की बरामदगी और जब्ती की गई थी यह गहने मालखाने में जमा थे लिहाजा उसके मालिक को वापसी की प्रक्रिया की समीक्षा की गई थी कोर्ट के निर्देश पर विशेष अभियान के तहत संपत्ति के सही मालिक को गहने सौंपने का निर्णय लिया गया।

उपस्थित पीड़ित रूपारेल परिवार ने पुलिस की इस पहल को सराहा और पुलिस को धन्यवाद भी दिया।

चोरी गए गहने वापस पाकर ग्रहणी का चेहरा खिला
नियमानुसार चोरी हुआ सामान बरामद होने पर पुलिस इसकी सूचना पीड़ित को देती है , तत्पश्चात चोरी हुआ सामान वापस पाने के लिए पीड़ित को अदालत में जाकर अपनी पहचान साबित कर सामान वापस पाने का आदेश हासिल करना होता है कोर्ट आदेश की प्रति पुलिस को मिलने के बाद , पीड़ित को सामान सुपुर्दनामे पर वापस कर दिया जाता है। इसी प्रक्रिया के तहत ढाई साल बाद घर से चोरी गए गहने वापस पाकर फरियादी ग्रहणी का चेहरा खिल गया।

-रवि आर्य

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