आशीष देशमुख बन सकते हैं जीत में रोड़ा.
नागपुर टुडे नागपुर जिले के दबंग जनप्रतिनिधि सावनेर-कलमेश्वर के विधायक सुनिल केदार आगामी विधानसभा चुनाव स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में लड़ने के लिए पुरजोर मेहनत कर रहे है.केदार को कांग्रेसी उम्मीदवारी दिलवाने के लिए छिंदवाड़ा के सांसद कमलनाथ प्रयासरत है, संभवतः कमलनाथ के सिफारिश को कांग्रेस आलाकमान तहरीज़ देंगे.
विश्वसनीय सूत्रों की माने तो कांग्रेस की पक्षपाती नीति से क्षुब्ध सावनेर के विधायक सुनिल केदार ने फ़िलहाल कांग्रेस से दूरी बनाने का मकसद लिए निर्दलीय चुनाव लड़ने हेतु जनसम्पर्क अभियान में व्यस्त हैं. पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस नेता मुकुल वासनिक को संसद तक पहुँचाने में उन्होने अहम भूमिका निभाई थी, लेकिन मांगों के अनुरूप तवज्जो नही मिलने के कारण पिछले लोकसभा चुनाव में उन्होने मुकुल वासनिक के चुनाव अभियान से दुरी बना ली थी. इस चुनाव में वासनिक को बड़ी हार का सामना करना पड़ा.
लोस चुनाव के बाद कांग्रेस ने यह फैलाना शुरू कर दिया कि केदार जिला मध्यवर्ती बैंक घोटाले से लिप्त हैं इसलिए कांग्रेस इस बार उन्हें टिकट नहीं देगी. दूसरी और आशीष देशमुख का पुनः भाजपा से लड़ने की जिद ने केदार को परेशान कर दिया. इससे उबरने के लिए केदार ने अपने ‘कोर एडवाइजर’ ( सभी पक्षों के डिसिशन मेकिंग लीडर्स) से चर्चा कर निर्दलीय लड़ने की योजना बनाई और इस समय वे क्षेत्र सक्रिय हैं. अगर कांग्रेस ने दबाव बनाकर केदार को उम्मीदवार नहीं बनाया तो निर्दलीय लड़ना पक्का माना जा रहा है. कांग्रेस केदार जैसे जिताऊ उम्मीदवार को गवाना नहीं चाहेंगी और देर सबेर केदार को ही उम्मीदवार बनाएगी. कल सोमवार को केदार को कांग्रेस ने संदेशा भिजवाया कि उन्हें ही कांग्रेस सावनेर से अपना उम्मीदवार बनाने जा रही है.
इस बीच भाजपा भी आशीष देशमुख को मैदान में उतारने का मन बना रही है. गौरतलब है कि आशीष देशमुख को लेकर क्षेत्र में चर्चाओं का दौर जारी है और इस बार उनकी जीत के आसार भी प्रबल हैं.
द्वारा:-राजीव रंजन कुशवाहा