नागपुर: विश्व हिंदी दिवस की पूर्व संध्या,संतरा नगरी नागपुर के साहित्य प्रेमियों के लिए मानो गीतों और कविता की अनमोल सौगात ले कर आई अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सुप्रसिद्ध गीतकार और साहित्यकार डॉ बुद्धिनाथ मिश्र (देहरादून) के नव गीतों पर नागपुर के श्रोता झूमते नज़र आए।
डॉ बुद्धिनाथ मिश्र ने अपनी मशहूर कविता एक बार और जाल फेंक रे मछेरे और बीत गई बातों में रात वो ख्यालों की हाथ लगी निंदियारी ज़िंदगी ” आदि सुनाकर श्रोताओं को तृप्त किया।
अखिल भारतीय हिंदी संस्था संघ,नई दिल्ली और महाराष्ट्र राष्ट्रभाषा सभा, पुणे (विदर्भ प्रांत) के तत्वावधान में मंगलवार 9 जनवरी की शाम अयोजित “डॉ बुद्धिनाथ को सुनो और गुनो” कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रसिद्ध समाजसेवी और हिंदी सेवी डॉ गिरीश गांधी ने की।
मुख्य अतिथि वरिष्ठ IPS अधिकारी डॉ भूषण कुमार उपाध्याय ने भी अपनी रचनाएं प्रस्तुत कर वाहवाही लूटी।
संस्था के अध्यक्ष श्री अजय पाटिल ने स्वागत भाषण और प्रस्ताविक किया।
समारोह का संचालन श्री सत्येंद्र प्रसाद सिंह ने तथा धन्यवाद ज्ञापन डॉ मनोज सल्पेकरने किया।
स्थानीय कवियों; श्री संतोष बादल, मुकेश कुमार सिंह तथा सुश्री साक्षी देवते ने भी अपनी रचनाएं प्रस्तुत कर श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया।
कार्यक्रम में वरिष्ठ साहित्यकार,कवि, लेखक और पत्रकार बड़ी संख्या में उपस्थित थे।