कुछ धार्मिक जगहों पर नहीं हुआ लाउडस्पीकर का इस्तेमाल तो कुछ ने कम कर दी आवाज़
गोंदिया। जहां एक और लाउडस्पीकर को लेकर पूरे देश में बहस छिड़ी है वहीं सांप्रदायिक एकता और सद्भावना की विरासत को गोंदिया सहजे हुए हैं।
बुधवार 4 मई से अपने-अपने धार्मिक स्थलों से लाउडस्पीकर का शोर कम कर नियमित रूप से अपनी-अपनी धार्मिक गतिविधियां संचालित कर गोंदिया जिले ने सांप्रदायिक सौहार्द बनाए रखने की अनूठी मिसाल पेश की है जिसकी हर तरह अब सराहना हो रही है।
विशेष उल्लेखनीय है कि महाराष्ट्र में लाउडस्पीकर के इस्तेमाल का मुद्दा गर्माया हुआ है, महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना प्रमुख राज ठाकरे के आव्हान के बाद गोंदिया जिला पुलिस प्रशासन अलर्ट मोड पर है।
शांति भंग करने की कोशिश करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी – ताजने
विशेष कार्यकारी दंडाधिकारी तथा गोंदिया उपविभागीय पोलीस अधिकारी एस.बी ताजने ने बात करते हुए कहा कि उनके सर्कल के तहत आने वाले थाना क्षेत्र में पूर्णतः शांति व्यवस्था बनी हुई है तथा शहर थाना अंतर्गत 8 , रामनगर 7 , रावनवाड़ी 5, गोंदिया ग्रामीण 2 ऐसे कुल 22 धार्मिक स्थलों के बाहर प्रत्येक पर 10 पुलिसकर्मी व एक पुलिस ऑफिसर की तैनाती की गई है।
सभी धार्मिक स्थलों को ध्वनि प्रदूषण से संबंधित नियमों का पालन करने के लिए कहा गया है लिहाज़ा कुछ ने लाउडस्पीकर का इस्तेमाल नहीं किया तो कुछ ने लाउडस्पीकर की आवाज़ कम कर ली है।
कानून व्यवस्था की स्थिति जिला पुलिस प्रशासन बनाए हुए हैं , शांति भंग करने की कोशिश करने वालों के खिलाफ तुरंत सख्त कार्रवाई की जाएगी , इसी के मद्देनजर मनसे के 7 पदाधिकारियों के खिलाफ कारण बताओ नोटिस एहतियात प्रतिवृत्त क्र 176/22 की धारा 107 (2) 116 फौ. प्र.सं. के अनुसार जारी करते उन्हें 4 मई को दफ्तर बुलाया गया।
सार्वजनिक शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए 25 हजार रुपए का बंधपत्र ( बॉन्ड ) 1 वर्ष की कालावधी के लिए तथा उतने ही कालावधि के लिए के लिए एक जमानतदार (गारंटर रक्त संबंधी नहीं होना चाहिए) जो आपको नियंत्रित करने में समक्ष हो, इस संबंध में कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
लाउडस्पीकर यह धार्मिक नहीं बल्कि सामाजिक मुद्दा है- मनसे
गौरतलब है कि मनसे प्रमुख राज ठाकरे ने 3 मई तक अल्टीमेटम देते हुए कहा था- लाउडस्पीकर का मुद्दा यह धार्मिक नहीं बल्कि सामाजिक मुद्दा है, क्योंकि ध्वनि प्रदूषण से सभी को परेशानी होती है अगर सुप्रीम कोर्ट की ओर से तय डिजिटल नियम के मुताबिक आवाज़ नहीं होगी तो कानून का पालन न करने वालों पर कार्रवाई क्यों नहीं हो रही है .कारण बताओ नोटिस मिलने के बाद गोंदिया उपविभागीय पोलीस अधिकारी कार्यालय पहुंचे मनसे के पदाधिकारी जिला अध्यक्ष मनीष चौरागड़े , जिला उपाध्यक्ष मुकेश मिश्रा , जिला सचिव सुरेश ठाकरे , गोंदिया तहसील अध्यक्ष रजत बागड़े , गोंदिया शहर अध्यक्ष राजेश नागौसे , गोंदिया शहर उपाध्यक्ष क्षितिज वैद्य , मनसे विद्यार्थी सेना शहर अध्यक्ष निखिल गड़पायले ने इसी बात को दोहराते हुए कहा- मनसे प्रमुख राज ठाकरे साहब का आदेश मिलने के बाद तहसीलदार और पुलिस विभाग से परमिशन लेकर शांतिपूर्ण तरीके से आंदोलन किया जाएगा।
विशेष उल्लेखनीय के प्रतिबंधक कार्रवाई के तहत 25000 रुपए का बंधपत्र (बॉन्ड ) देने को कहा गया था , जिसपर अंतरिम जमानत राशि 25000 से घटाकर 10,000 हजार करने का आग्रह मनसे जिला अध्यक्ष मनीष चौरागड़े की ओर से जिला पुलिस प्रशासन को किया गया जिसे उपविभागीय पुलिस अधिकारी कार्यालय द्वारा स्वीकार किया गया है इस बात की जानकारी देते मनसे जिला अध्यक्ष ने कहा- साहब का आदेश मिलने पर कानून के दायरे के तहत तहसीलदार व पुलिस प्रशासन से परमिशन लेकर शांतिपूर्वक आंदोलन किया जाएगा।
रवि आर्य