Published On : Sun, Aug 27th, 2023
By Nagpur Today Nagpur News

Video गोंदिया: मंगल कलश यात्रा से हुआ ‘ झूलेलालजी चलीहो ‘ महोत्सव का समापन

सिंधी कला संस्कृति और विरासत स्वरूप 40 दिनों तक हुए कई धार्मिक कार्यक्रम आयोजित ' आयोलाल- झूलेलाल ' के गूंजे जयकारे
Advertisement

गोंदिया। सांई झूलेलालजी वरूण देव के अवतार हैं , सिंधी समाज द्वारा प्रतिवर्ष झूलेलाल चालीहो महोत्सव मनाया जाता है।

इस महोत्सव के दौरान अनेक श्रद्धालु मन्नतों को पूर्ण करने के लिए पूजा-पाठ, जप , व्रत करते हैं।

Gold Rate
16April 2025
Gold 24 KT 95,000/-
Gold 22 KT 88,400/-
Silver / Kg - 96,200/-
Platinum 44,000 /-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

स्थानीय सिंधी स्कूल के सामने स्थित प्राचीन झूलेलाल मंदिर में बड़ी ही आस्था और उमंग के साथ श्री झूलेलाल अखंड ज्योति चालीहो महोत्सव मनाया गया इस दौरान ‘ आयोलाल – झूलेलाल ‘ के जयकारों के साथ मंदिर परिसर भक्तिमय होता रहा।

इस अवसर पर मंदिर को विशेष रूप से सजाया गया तथा इन 40 दिनों के दौरान सिंधी कला और संस्कृति से परिचय कराते हुए कई धार्मिक कार्यक्रम आयोजित किए गए।

आध्यात्मिक सत्संग, नृत्य, भजन-कीर्तन आदि की धूम रही।
वहीं बड़ी संख्या में सिंधी समाज बंधुओं ने सुबह-शाम आरती, पल्लव में शामिल होकर अखंड ज्योत के दर्शन किए और सांई झूलेलाल से सुख समृद्धि की कामना की।

चालिहो महोत्सव समापन अवसर पर हवन पूजन भोग साहब, आम लंगर सहित 24 अगस्त को पूर्व संध्या पर ईष्टदेव सांई झूलेलाल को छप्पन भोग का महाप्रसाद समर्पित किया गया तथा महाआरती की गई।

25 अगस्त शुक्रवार को बहिराणा साहिब की पुजा तथा गुजरात के विख्यात संत सांई शेहरवारा द्वारा सिंधी समाज में वितरित की गई मटकियां ( अख्खे ) की पूजा की गई तत्पश्‍चात शाम 4 बजे भव्य कलश यात्रा झूलेलाल मंदिर से भ्रमण हेतु निकली जो मंदिर परिसर से दशहरा मैदान, सिंधी कॉलोनी होते हुए झूलेलाल द्वार पहुंची यहां महाआरती की गई तत्पश्‍चात शिवधाम (फुलचुर रोड) में आशापूर्ण पल्लव के साथ बहिराणा साहिब की ज्योत जल में पूरे आदर सम्मान के साथ प्रवाहित की गई।

चालीहो महोत्सव के इस सफल आयोजन हेतु श्री झूलेलाल चेरिटेबल ट्रस्ट कमेटी के पदाधिकारी- सुनिल चावला, अशोक जयसिंघानी, पिंटु लालवानी, अज्जु भागवानी , अर्जुन परयानी, किशोर नागदेव तथा मंदिर के पुजारी पं. अरविंद मिश्रा का विशेष सहयोग रहा।

रवि आर्य

Advertisement
Advertisement