Published On : Mon, Feb 19th, 2018

BJP सरकार ने दिखाया हाइपरलूप ट्रेन का सपना – 20 मिनट में तय होगा मुंबई से पुणे का सफर

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अहमदाबाद से मुंबई तक बुलेट ट्रेन चलाने की तैयारी कर रही बीजेपी सरकार ने महाराष्ट्र के लोगों को एक नया सपना दिखाया है। महाराष्ट्र की बीजेपी सरकार राज्य में हाइपरलूप ट्रेन चलाना चाहती है। राज्य की देवेन्द्र फडणवीस सरकार ने इस बावत अमेरिका की जानी-मानी कंपनी वर्जिन ग्रुप के साथ रविवार (18 फरवरी) को ‘आशय पत्र’ पर दस्तखत किए हैं। महाराष्ट्र सरकार मुंबई से पुणे के बीच हाइपरलूप ट्रेन चलाना चाहती है। इससे दोनों बड़े शहरों के बीच यात्रा का समय घटकर 20 मिनट रह जाएगा।

यह अभी तीन घंटे है। अभी इस परियोजना का ब्योरा मसलन लागत और समयसीमा की घोषणा नहीं की गई है। हाइपरलूप मार्ग में पूरी तरह इलेक्ट्रिक प्रणाली होगी और इसमें प्रति घंटे 1,000 किलोमीटर तक दौड़ने की क्षमता होगी। पहला हाइपरलूप मार्ग मध्य पुणे को वृहद महानगर के अलावा नवी मुंबई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से भी जोड़ेगा। इस हवाई अड्डे की आधारशिला रविवार शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रखी।

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वर्जिन समूह के चेयरमैन रिचर्ड ब्रैन्सन ने मैग्नेटिक महाराष्ट्र निवेशक सम्मेलन के पहले दिन कहा, ‘‘हमने महाराष्ट्र के साथ मुंबई और पुणे के बीच र्विजन हाइपरलूप के निर्माण के लिए करार किया है। इसकी शुरुआत क्षेत्र में परीक्षण के तौर पर ट्रैक बनाने के साथ होगी।उन्होंने कहा कि हवाई अड्डे के गेट पर आसान पहुंच के जरिये हम हर साल 15 करोड़ यात्रियों को लेकर जा सकेंगे। ब्रैन्सन ने कहा कि इस प्रस्तावित हाइपरलूप परिवहन प्रणाली से पूरी परिवहन प्रणाली में बदलाव आएगा और महाराष्ट्र इस क्षेत्र में वैश्विक स्तर पर उदाहरण होगा। उन्होंने दावा किया कि इससे हजारों रोजगार के अवसरों का सृजन होगा। इस परियोजना का सामाजिक आर्थिक लाभ 55 अरब डॉलर का होगा। यह प्रस्तावित परियोजना छह महीने के गहन व्यवहार्यता अध्ययन के बाद शुरू होगी।

बता दें कि हाइपरलूप ट्रेन ट्रांसपोर्ट की सबसे अद्यतन तकनीक है। इसमें चुंबकीय शक्ति का इस्तेमाल किया जाता है। दरअसल यह बहुराष्ट्रीय कंपनी टेस्ला के संस्थापक एलन मस्क का सपना है। हाइपर लूप को चलाने के लिए कई देशों में प्रयोग हो रहे हैं। इस तकनीक के तहत खंभों के ऊपर पारदर्शी ट्यूब बनाई जाती है। इसके भारत बुलेट जैसी बोगी हवा में तैरते हुए सफर करती है। इस ट्रांसपोर्ट में घर्षण बहुत कम होता है।

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