नागपुर. पूर्व ऊर्जा मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा कि महाविकास आघाड़ी सरकार ने लगभग 13 प्रतिशत तक बिजली की दर बढ़ा दी है. यह अब तक राज्य के इतिहास में सबसे अधिक बढ़ोतरी है. उन्होंने कहा कि उद्योगों के लिए करीब 25 और घरेलू ग्राहकों के लिए 15 प्रतिशत तक बिजली दर बढ़ोतरी का झटका इस सरकार ने दिया है.
यह महावितरण, महानिर्मिति और महापारेषण में नियोजन शून्य कार्यप्रणाली का परिणाम है जिसका बोझ आम नागरिकों पर लादा गया है. उन्होंने कहा कि तीनों कंपनियों में दिसंबर, जनवरी, फरवरी महीनों में जो अधिक खर्च किया गया है उसे वसूलने के लिए ऊर्जा विभाग ने दर बढ़ाई है. यह अधिक खर्च जनता से वसूल करने का प्रयास है.
कोयले नीति में चूक
बावनकुले ने कहा कि देवेन्द्र फडणवीस सरकार ने नीतिगत तरीके से कोयला का नियोजन किया था तब राज्य लोडशेडिंग मुक्त हुआ था लेकिन अब ऊर्जा मंत्रायल में कोयले का नियोजन ही नहीं है. तीन महीनों से कोयला वितरण कंपनी महावितरण से संपर्क कर कोलये का स्टॉक रखने की सलाह दे रही थीं लेकिन महावितरण ने इस ओर से दुर्लक्ष किया. अब अधिक पैसे देकर बाजार से बिजली खरीदना पड़ रहा है. दुर्भाग्य से इसका हर्जाना जनता को भुगतना पड़ रहा है. उन्होंने मांग की कि खर्च का प्रावधान राजस्व विभाग से करवाया जाए और आम जनता को राहत दी जाए.