नागपुर: शहर की एक स्कुल में खाने में इल्ली मिलने की वजह से एक बार फिर लापरवाही उजागर हुई है. बर्डी स्थित स्कुल का नाम महानगर पालिका की नेताजी मार्केट माध्यमिक हिंदी हाईस्कूल है. जानकारी के अनुसार इस स्कुल में दी अक्षय पात्र फाउंडेशन द्वारा दिए गए मिड-डे-मिल में पकी हुई इल्ली मिली तथा आज के भोजन में चावल कच्चा था और आलू भी सड़े हुए थे. खाने में इल्ली पाए जाने के बाद में इस स्कुल की प्रिंसिपल ने वरिष्ठ अधिकारियो और दी अक्षय पात्र फाउंडेशन के अधिकारियों से संपर्क कर इस मामले की जानकारी दी थी.
लेकिन दी अक्षय पात्र ने माफ़ी माँगते हुए कहा था कि अगली बार इस तरह की घटना नहीं होगी. लेकिन इसके बाद भी यह घटना दोबारा हुई और खाने में ईल्ली मिली. इसके पूर्व भी दी अक्षय पात्र की अनेक शिकायतें मिली थी, और इस विषय में आरटीई एक्शन कमिटी ने संबंधित विभाग को शिकायत भी की थी और मामले की जाँच करने मानव संसाधन मंत्रालय से टीम भी आयी थी लेकिन इसके बावजूद भी दी अक्षय पात्र फाउंडेशन के खाने की गुणवत्ता में सुधार नहीं आ रहा है. इल्ली निकलने की बात स्कुल के विद्यार्थी ने भी बताई है.
इस मामले में नेताजी मार्केट हिंदी हाईस्कूल की प्रिंसिपल सयाम ने जानकारी देते हुए बताया कि बच्चों ने मुझे खाने में पड़ी इल्ली दिखाई. इसके बाद हमने इसकी जानकारी विभाग को दी. विभाग के अधिकारियों ने जानकारी दी की आप दी अक्षय पात्र को शिकायत करे. हमने अक्षय पात्र फाउंडेशन के पदाधिकारी से बात की और कहा कि आपके द्वारा दिए गए खाने का स्वाद अच्छा होता है लेकिन खाने में इल्ली मिली है.
प्रिंसिपल ने बताया की हमने यह भी कहा कि अक्षय पात्र को की आप बच्चों के स्वास्थ के साथ खिलवाड़ कर रहे है. इसके बाद उन्होंने कहा की यह पहली बार है. इसके बाद हम ध्यान रखेंगे. इसके बाद आपको शिकायत का मौका नहीं देंगे.
इस पुरे मामले में दी अक्षय पात्र फाउंडेशन के प्रशांत भगत ने सफाई देते हुए कहा कि खाने में किसी भी तरह की लापरवाही नहीं की जाती. खाने में इल्ली या फिर कच्चा चावल मिलने की बात सच नहीं है. उन्होंने यह भी कहा की कुछ लोग जानभूझकर फाउंडेशन को बदनाम करना चाह रहे है.
इस बारे में आरटीई एक्शन कमेटी के चेयरमैन मो. शाहिद शरीफ ने बताया कि आज उन्होंने खुद स्कुल जाकर छात्रों के साथ भोजन किया है. दी अक्षय पात्र फाउंडेशन द्वारा सड़े हुए आलू और आधा पका भोजन बच्चों को खिलाया जा रहा है. बावजूद इसके लापरवाही की जा रही है. बच्चों की जान चले जाने के बाद प्रशासन जागेगा. उन्होंने कहा की राष्ट्रीय आयोग से शिकायत की जाएगी.